Magrib ki namaz ki niyat||namaz padhne ka Sahi tarika in Hindi
हेलो दोस्तों अस्सलाम वालेकुम मेरे प्यारे इस्लामी भाइयों और बहनों मैं आपको नमाज के सही तरीके बता रहा हूं मगरिब की नमाज किस तरीके से पढ़ी जाती है और कितने रकात नमाज होती है लिए शुरू करते हैं
दोस्तों नमाज पढ़ने से पहले आपका पाक होना बहुत ही ज्यादा जरूरी है और आप पार्क हैं तो आप नमाज पढ़ सकते हैं अगर पैक नहीं है तो आपका नमाज पढ़ने का कोई भी फायदा नहीं है अगर आपको लग रहा है कि मैं थोड़ा सा ही नापाकी में हूं तो तुरंत पाकी हासिल कर ले इससे आपका इनाम ताजा होगा और आपकी नमाज भी कबूल हो जाएगी
Magrib ki namaj padhne ka Sahi tarika
नियत की मैंने दो रकअत नमाज़ मगरिब की सुन्नत रसूलपाक के वास्ते अल्लाह तआला के मुंह मेरा काअबा शरीफ के तरफ अल्लाहु अकबर. नियत की मैंने दो रकत नमाज़ मगरिब की नफिल वास्ते अल्लाह तआला के मुंह मेरा काअबा शरीफ के तरफ अल्लाहु अकबर. मग़रिब में कुल 7 रकअत होती है
दोस्तों पहले आपको नहाना है तो गुसल का ध्यान रखना है पहले गुसल करना है उसके बाद ही आपको नहाना है गुसल आपकी पाकी हासिल हो जाएगी और आप पूरी तरह से नमाज पढ़ने के लिए तैयार भी हो जाएंगे
उसके बाद आपको कौर कपड़े मतलब पाक कपड़े का इस्तेमाल करना है और पाक कपड़े पहनकर ही नमाज पढ़ना है तभी दोस्तों आपकी नमाज़ कबूल हो जाएगी
दोस्तों मगरिब की नमाज में कुल 7 रकात नमाज होती है पहले आपको तीन फर्ज पढ़ना है उसके बाद दो सुन्नत पढ़नी है और दो निफाल पादना है आपकी साथ रकात नमाज पूरी हो जाएगी और अल्लाह से दुआ करना है कि यह अल्लाह हमारे कबीर और सबीर गुनाहों को माफ करना अनजाने में और भूल में कोई भी गुनाह हो गया हो तो उसे माफ करना और जो नमाज हमने अल्लाह तेरी राह में पड़ी है इस नमाज को क़ुबूल फरमाना
Namaj se pahle Pak hone ka Tarika
जितनी भी फर्ज और जितनी सुनाते हमने अदा की हैं इन सबको हमारे नबी के वसीले से क़ुबूल फरमाना आपको दिल से दुआ मांगनी है और अपने रब को राजी करना है अगर आपका रब आपसे राजी हो गया तो आपके सारे बिगड़े काम बन जाएंगे
और दोस्तों मैं आपसे एक ही बात कहूंगा कि दोस्तों आपको पांच वक्त पूरे ही नमाज पढ़नी है आप पूरा दिन ऐसे ही खाली निकाल देते हैं तो आपको नमाज नहीं छोड़ दी है और पांच वक्त की नमाज पढ़नी है इससे आपके गुनाह भी माफ होंगे और आपको शबाब ही शबाब मिलेगा और अल्लाह आपकी तरफ से राजी हो जाएगा
दोस्तों जितनी भी नमाज आप पढ़ते हैं उसे नमाज को केड से और दिल से और मोहब्बत से पड़े अगर आपका ध्यान कहीं और है अपनी बिजनेस और अपने काम पर है और अपनी बातों पर है और आप नमाज के लिए खड़े हैं तो आपकी नमाज़ कबूल नहीं होगी जब नमाज पढ़ने खड़े हो तो अपने दलों और दिमाग में अल्लाह और अल्लाह के नबी को याद करना है और अपनी जवान पर नमाज मुकम्मल रखना है इससे आपकी नमाज भी कबूल होगी और आपका ध्यान भी नहीं भटकेगी तो याद रहे अपने बिजनेस और अपने काम को बुलाकर ही नमाज के लिए खड़े हो
Sunnat aur farj namaj padhne ka tarika
दोस्तों लिखने और टाइपिंग में या कुछ गलत बता दिया हो तो उसके लिए माफी चाहता हूं हम फिर किसी न्यू आर्टिकल और न्यू इस्लामिक जानकारी के साथ हाजिर होंगे जब तक के लिए सजा कल अल्लाह हाफिज अस्सलाम वालेकुम
Fajar ki namaj ki niyat 1